माया केयर फाउंडेशन पिछले 13 वर्षों से सभी जरूरतमंद बुजुर्गों को उनकी भावनात्मक और बौद्धिक जरूरतों को पूरा करने के लिए मुफ्त सेवाएं प्रदान कर रहा है। ताकि वे एक सुखी और आत्मनिर्भर जीवन जी सकें। इनमें वरिष्ठों को अस्पताल ले जाना, बैंक के काम में मदद करना, सरकारी काम में मदद करना, दुकान से दवाइयां लाना, उनके साथ बगीचे में टहलना, वीडियो कॉल करने में उनकी मदद करना, उनके लिए पढ़ना और लिखना, उनके साथ मनोरंजक खेल खेलना, उनके साथ फुरसत का समय निकल कर उनके साथ बातचीत करना और उनके लिए विभिन्न कार्यक्रम का आयोजन करना। ऐसी कई तरह कि सुविधा वफादार स्वयंसेवकों की मदद से मुफ्त में की जाती है।
वर्तमान में यह संगठन भारत के 73 शहरों (महाराष्ट्र में 22शहरों) और यूके के 4 शहरों में काम करता है। नेपाल के काठमांडू शहर मे भी कम चालता है। इस संस्था का काम 120 से अधिक विकलांग लोग (बिंदु समूह के) अपने घर में बैठकर कर रहे हैं। इसी कारण उन्हें रोजगारभी उपलब्ध हो रहा है, और वे भी आत्मनिर्भर हो रहे हैं। (BSW/MSW और इतर शिक्षा लेने वाले विद्यार्थियों को हमारी तरफ से अनुभव प्रमाण पत्र दीया जाता है।) इस संस्था के माध्यम से अब तक 2200 वरिष्ठजनों का 25000 से अधिक बार दौरा किया जा चुका है।
बुजुर्गों को अपने घर और वृद्धाश्रम में स्वतंत्र, सुखी और आरामदायक जीवन जीने में सक्षम बनाना है, और विकलांग व्यक्तियों को अपने घर से काम करके स्वरोजगार पेशेवर बनने में सक्षम बनाना इसका उद्देश्य है। इस दिशा की ओर से संस्था का कामकाज चल रहा है। वरीष्ठ नागरिक को मुफ्त में मदद मिलने के लिए उनके सुखी जीवन के लिए सामाजिक हेतू संस्था की अधिक जानकारी के लिए www.mayacare.com पर जाए।