प्रदेश में बनी 14 दवाओं के सैंपल फेल हो गए हैं। केन्द्रीय दवा मानक नियंत्रण संगठन (सी.डी.एस.सी.ओ.) ने ड्रग अलर्ट जारी किया
जिसमे हिमाचल के इस वर्ष जनवरी से लेकर जुलाई तक 107 दवाओं के सैंपल फेल हो चुके हैं। जिसको लेकर अब प्रदेश सरकार और स्वास्थ्य मंत्री धनीराम शांडिल ने भी चिंता जाहिर की है। हिमाचल प्रदेश में नकली दवाओं व लगातार दवाओं के सैंपल फेल होने पर स्वास्थ्य मंत्री धनीराम शांडिल ने कड़ा संज्ञान लिया हैं। उन्होंने इस मामले की जाँच के लिए डीएसपी के नेतृत्व में टास्क फाॅर्स गठन करने का ऐलान किया है। उन्होंने कहा कि यह फाॅर्स ड्रग विभाग की कार्यप्रणाली की भी जाँच करेगी।
बता दें कि पिछले 11 महीनो में नकली दवाओं के 5 मामले पकड़े गए है लेकिन यह उद्योग कई वर्ष से चले हुए थे आज तक विभाग ने क्यों करवाई नहीं की यह टास्क फाॅर्स जाँच करेगी। स्वास्थ्य मंत्री धनीराम शांडिल ने कहा कि प्रदेश में दवाओं के फेल हो रहे सैंपल से हिमाचल की छवि को नुकसान हुआ है,इसको लेकर अब हिमाचल सरकार और वे खुद कड़ा रुख अपनाने वाले है।
स्वास्थय मंत्री धनीराम शांडिल ने कहा कि लोगों तक बेहतर औए ठीक दवाइयां पहुंचे इसके लिए सरकार कार्य कर रही है और सरकार नकली दवाएं बनाने वाले और लगातार दवाइयों के सैंपल फेल होने के मामलों को लेकर गंभीर है। उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश में ड्रग माफिया को पनपने नहीं दिया जाएगा इसके लिए विशेष टास्कफोर्स बनाई जाएगी जो इन मामलों के जड़ तक पहुंचेगी।